गया: 16 जनवरी 2025 को जिला पदाधिकारी डॉ. त्यागराजन एसएम की अध्यक्षता में खरीफ विपणन मौसम 2024-25 के अंतर्गत धान अधिप्राप्ति कार्य की समीक्षा के लिए जिला टास्क फोर्स की बैठक आयोजित की गई। बैठक में जिला सहकारिता पदाधिकारी ने बताया कि जिले में कुल 313 पैक्स और व्यापार मंडलों द्वारा 15 नवंबर 2024 से धान अधिप्राप्ति का कार्य शुरू किया गया है। इनमें 294 पैक्स और 18 व्यापार मंडल शामिल हैं। अब तक 11,871 किसानों से 80,627.936 मीट्रिक टन धान की खरीद की गई है।
जिला पदाधिकारी ने निर्देश दिया कि मगध सेंट्रल कोऑपरेटिव बैंक लिमिटेड के प्रबंध निदेशक और सभी सहकारिता प्रसार पदाधिकारी यह सुनिश्चित करें कि किसानों को भुगतान 48 घंटे के अंदर हो। उन्होंने धान अधिप्राप्ति में लापरवाही पर नाराजगी जताई और अधिक से अधिक किसानों का ऑनलाइन पंजीकरण कराने के लिए प्रचार-प्रसार तेज करने का निर्देश दिया। बैठक में बताया गया कि जिले में धान अधिप्राप्ति के लिए 312 समितियों को क्रियाशील बनाया गया है, और 30 मिलों (26 उसना और 4 अरवा) को धान के प्रसंस्करण के लिए चयनित किया गया है। जिले में धान अधिप्राप्ति हेतु 44,547 किसानों ने ऑनलाइन आवेदन किया है, जिनमें से 23,790 रैयत किसान और 20,757 गैर रैयत किसान हैं।
जिला सहकारिता पदाधिकारी ने जानकारी दी कि सभी समितियों को कैश क्रेडिट उपलब्ध कराया गया है, जिससे धान अधिप्राप्ति कार्य सुचारू रूप से चल रहा है। जिला प्रबंधक, राज्य खाद्य निगम ने बताया कि सभी मिलों का सत्यापन किया जा चुका है, और जिला पदाधिकारी ने मिलों की समितियों से संबद्धता के निर्देश दिए।
जिला पदाधिकारी ने छोटे किसानों से प्राथमिकता के आधार पर धान खरीदने का निर्देश दिया और कहा कि राज्य सरकार धान अधिप्राप्ति को लेकर गंभीर है। उन्होंने कहा कि अधिप्राप्ति में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी, और सभी सहकारिता पदाधिकारी नियमित रूप से किसानों से बातचीत करें और उन्हें पैक्स में धान बेचने के लिए प्रेरित करें।
उन्होंने कहा कि परैया, अतरी, खिजरसराय, नीमचक बथानी, मानपुर, इमामगंज, टिकारी, बांके बाजार, कोच, और बाराचट्टी प्रखंडों में अधिप्राप्ति कार्य में तेजी लाने की आवश्यकता है। जिला सहकारिता पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि संबंधित क्षेत्रों के सहकारिता पदाधिकारी नियमित रूप से पैक्स केंद्रों का निरीक्षण करें और अधिप्राप्ति कार्य में तेजी लाएं। जिला पदाधिकारी ने अपर समाहर्ता को निर्देश दिया कि वे रैंडम तरीके से विभिन्न प्रखंडों में धान अधिप्राप्ति की जांच करें और लापरवाही पाए जाने पर कार्रवाई करें। उन्होंने सभी सीएमआर गोदामों की नियमित जांच करने और किसानों को उनके धान की गुणवत्ता के अनुसार उचित भुगतान सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए।
बैठक में जिला सहकारिता पदाधिकारी, जिला प्रबंधक राज्य खाद्य निगम, सभी प्रखंडों के सहकारिता प्रसार पदाधिकारी और अनुमंडल पदाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित थे।
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